सेवा पुस्तिका में सेवा सत्यापन
प्रश्न:- सेवा पुस्तिका में किए जाने वाले सेवा सत्यापन के संबंध में जानकारी देवें।
उत्तर:- सेवा पुस्तिका में सेवा सत्यापन प्रत्येक वर्ष 1 अप्रैल से 31 मार्च तक की अवधि का किया जाता हैं।
>> सामान्य वित्तीय एवं लेखा नियम के नियम संख्या 136(1) के अनुसार प्रत्येक वर्ष 30 जून तक आहरण एवं वितरण अधिकारी/ कार्यालयाध्यक्ष द्वारा सेवा पुस्तिकाओं को सत्यापन के लिए ले लिया जायेगा। वह अपना इससे समाधान कर लेने पर कि संबंधित कर्मचारी की सेवाएं प्रत्येक सेवा पुस्तिका में सही अभिलिखित की गई है, निम्नलिखित प्रारूप में एक प्रमाण पत्र अभिलिखित कर उस पर अपने हस्ताक्षर करेगा :
” दिनांक……………….. से ……………….. तक ( अभिलेख जिससे सेवाओं का सत्यापन किया गया है) की सेवाएं सत्यापित की गई ।”
>> नियम 136 (3) के अनुसार आहरण एवं वितरण अधिकारी प्रत्येक वर्ष जून माह के संवेतन बिल में एक प्रमाण पत्र इस संबंध में संलग्न करेगा कि समस्त पद धारकों ( जिनका वेतन बिल में आहरित किया जा रहा हैं) के संबंध में स्थानीय अभिलेखों से सेवा का वार्षिक सत्यापन पूरा कर लिया गया हैं। इसके अभाव में कोषागार में बिल को भुगतान के लिए पारित नहीं किया जायेगा।
नोट: हालांकि इस प्रकार का प्रमाण पत्र आजकल जून माह के वेतन बिल में स्वतः ही मुद्रित आता हैं जिस पर डीडीओ साहिबान के डिजिटल हस्ताक्षर होते हैं।
>> नियम 136(4) के अनुसार आहरण एवं वितरण अधिकारी सेवा पुस्तिका में सेवा सत्यापन का वार्षिक प्रमाण पत्र अभिलिखित करते समय, यदि सेवा का कोई भाग अभिलेख से सत्यापित नहीं किया जा सकता हो तो स्पष्ट रूप से यह उल्लेख करेगा कि उस प्रत्याशित अवधि ( उसको लिखते हुए) के लिए सरकारी कर्मचारी द्वारा लिखित में एक विवरण तथा साथ ही उसके समकालीन साथियों की साक्ष्य का एक अभिलेख, पुस्तिका के साथ संलग्न किया गया हैं।
>> स्थानांतरण की स्थिति में सेवा पुस्तिका में सेवा सत्यापन वेतन आहरण माह तक किया जाता हैं।
>> कार्यालयाध्यक्ष की स्वयं की सेवा पुस्तिका नियंत्रण अधिकारी की अभिरक्षा में रहती है। अतः कार्यालयाध्यक्ष द्वारा G.A. 141 का प्रमाण पत्र नियंत्रण अधिकारी को भिजवाया जाता है जिसके आधार पर नियंत्रण अधिकारी सेवा सत्यापन करता हैं।
>> वेतन व्यवस्था अन्यत्र होने की परिस्थिति में सेवा पुस्तिका में सेवा सत्यापन को लेकर पूर्ण स्पष्टता का अभाव हैं।
सामान्य तौर पर सेवा सत्यापन वेतन व्यवस्था वाले कार्यालय से ही किया जाता है। इस संबंध में कार्यालय श्रीमान जिला शिक्षा अधिकारी मुख्यालय प्रारंभिक शिक्षा श्रीगंगानगर के आदेश क्रमांक जिशिअ/ (मु.)/ प्राशि/ गंगा/अ. प्रकरण/ 2020-21/ 961-64 दिनांक 07/10/2020 के अनुसार सेवा सत्यापन वेतन व्यवस्था वाले स्थान से ही किया जाएगा और मूल पदस्थापन स्थान के डीडीओ साहिबान जून माह से पूर्व कार्मिक की सेवा पुस्तिका वेतन व्यवस्था वाले कार्यालय के डीडीओ साहिबान को प्रेषित करेंगे।
>> इसी तरह कार्यालय श्रीमान जिला शिक्षा अधिकारी मुख्यालय माध्यमिक शिक्षा नागौर के आदेश क्रमांक जिशिअ/ मु मा/ ना./ संस्था-1/2023/327 दिनांक 05/07/2023 के अनुसार वास्तविक पदस्थापन स्थान वाले आहरण एवं वितरण अधिकारी वेतन व्यवस्था वाले कार्यालय के डीडीओ साहिबान से कार्मिक का GA 55 प्राप्त कर सेवा सत्यापन करेंगे और इसका प्रमाण पत्र जून माह में वेतन व्यवस्था वाले कार्यालय को प्रेषित करेंगे।
>> परंतु यहां सामान्य वित्तीय एवं लेखा नियम के नियम संख्या 136(1) पर ध्यान देने की आवश्यकता है। इस नियम के अनुसार सेवा पुस्तिका में सेवा सत्यापन करते समय उस अभिलेख का विवरण देना होता है जिसके आधार पर सेवा सत्यापन किया गया हैं। अतः उक्त दोनों ही प्रक्रिया गलत नहीं है। यदि सेवा सत्यापन वेतन व्यवस्था वाले स्थान से किया जाता हैं तो उसमें वेतन विपत्र आदि का उल्लेख किया जाता हैं। यदि सेवा सत्यापन मूल पदस्थापन स्थान से किया जाता हैं तो वेतन व्यवस्था वाले कार्यालय से प्रमाणित GA 55 या GA 141 प्राप्त कर किया जा सकता हैं और सेवा सत्यापन में इनका विवरण अभिलेख के तौर पर दिया जा सकता हैं।
>> अतः उक्त दोनों ही प्रक्रिया नियमों के दायरे में हैं।
>> असाधारण अवकाश अवधि का सेवा पुस्तिका में सेवा सत्यापन अवकाश स्वीकृति के बाद किया जा सकता हैं परंतु असाधारण अवकाश का विवरण सेवा पुस्तिका में लाल स्याही से लिखा जायेगा।
>> सेवा पुस्तिका में सेवा सत्यापन स्पष्ट होना चाहिए। इसमें किसी भी प्रकार की कटिंग अथवा ओवर राइटिंग नहीं होनी चाहिए और प्रत्येक त्रुटि को संबंधित अधिकारी द्वारा अपने लघु हस्ताक्षर द्वारा प्रमाणित करना चाहिए।
उमेश कुमार श्योराण: कनिष्ठ सहायक राउमावि छाजूसर, चूरू
पे मैनेजर इन्फो
हमारे टेलीग्राम ग्रुप से जुड़े – https://t.me/Governmentemployeesnews